वो नादानियाँ…

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ढूँढ के लादो मुझे
मेरी शैतानियाँ
कुछ मस्तियाँ
वो नादानियाँ
हंसी के बुलबुले
गुदगुदाते कहकहे
ज़ोरों के ठहाके
इक ज़माना हो गया
इन सबसे मिले हुए...

शैल
July 21, 2017

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