तमन्ना
करवट ले रही शिकायतों में
सपने बुन रही अधूरी खवाइशयों में
कुछ साँसें बाक़ी हैं अभी
इक क़तरा ठहरा है
अधखुली पलकों पर
आज फिर कोई तमन्ना
पिघल रही है…
शैल
July 16, 2017
करवट ले रही शिकायतों में
सपने बुन रही अधूरी खवाइशयों में
कुछ साँसें बाक़ी हैं अभी
इक क़तरा ठहरा है
अधखुली पलकों पर
आज फिर कोई तमन्ना
पिघल रही है…
शैल
July 16, 2017